पटवारियों को रिपोर्ट तैयार करने के दिए निर्देश, BDO तैयार करेंगे कार्ययोजना
धर्मशाला, 27 अगस्त : उपायुक्त डॉ. निपुण जिंदल ने कहा कि मनरेगा के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में भारी बारिश से क्षतिग्रस्त नहरों, कूल्हों, खेल मैदानों, सार्वजनिक रास्तों, मोक्षधामों की मरम्मत करवाई जा सकती है। इसके लिए सभी उपमंडल अधिकारियों तथा विकास खंड अधिकारियों को संबंधित क्षेत्रों के पटवारियों, तकनीकी सहायकों तथा तकनीकी सचिवों से ऐसे कार्यों के नुकसान की रिपोर्ट तैयार करने के लिए कहा गया है, जो मनरेगा की कन्वर्जेंस में किए जा सकते हों।
इसकी कार्ययोजना संबंधित विकास खंड अधिकारियों करके मुख्य कार्यकारी अधिकारी डीआरडीए को स्वीकृति हेतु भेजना सुनिश्चित की जाए, ताकि समयबद्ध तरीके से राहत तथा पुनर्वास के कार्य आरंभ किए जा सकें। उपायुक्त डॉ. निपुण जिंदल ने कहा कि प्राकृतिक आपदा के दौरान राहत व पुनर्वास के कार्य में मनरेगा के तहत कन्वर्जेंस में नहरों, कूल्हों की मरम्मत तथा रखरखाव, बाढ़ डायवर्सन चैनल की मरम्मत तथा नवीनीकरण, निजी भूमि में जल भराव की निकासी का कार्य, सामुदायिक भूमि में जल भराव की निकासी का कार्य, मोक्षधामों के रखरखाव तथा मरम्मत का कार्य, खेल मैदानों की रिपेयर, सामुदायिक हित में तटबंध का निर्माण, सामुदायिक सीमेंट कंकरीट मार्ग की मरम्मत का कार्य मनरेगा के तहत किया जा सकता है।
उपायुक्त डा निपुण जिंदल ने कहा कि उपरोक्त सभी क्षतिग्रस्त कार्यों की संबंधित क्षेत्रों में रिपोर्ट तैयार करने के लिए कहा गया है।
उपायुक्त डॉ. निपुण जिंदल ने कहा कि भारी बरसात के कारण जिला में राहत तथा पुनर्वास के कार्यों में तेजी लाने के निर्देश भी विभागीय अधिकारियों को दिए गए हैं। इसके साथ ही जिला प्रशासन द्वारा प्रभावित परिवारों को राहत नियमावली के अनुसार संबंधित उपमंडल अधिकारियों के माध्यम से राहत प्रदान की जा रही है। उन्होंने कहा कि जिला तथा उपमंडल स्तर पर आपदा कंट्रोल रूम स्थापित किए गए हैं तथा आपदा के दौरान कंट्रोल में तुरंत जानकारी दें ताकि त्वरित प्रभाव से राहत और पुनर्वास के कार्यों में तेजी लाई जा सके।