हमीरपुर(एमबीएम न्यूज़): हिमाचल राजकीय अध्यापक संघ जिला अध्यक्ष संजीव ठाकुर महासचिव राजकुमार ठाकुर, चीफ पैटर्न एवं पूर्व राज्य महासचिव अजय शर्मा, वित्त सचिव मनोज शर्मा वरिष्ठ उपप्रधान कमल राज अत्री, हैड क्वाटर सचिव कटोच, जिला के समस्त कार्यकारिणी संयुक्त वक्तव्यं मे कहा कि मानव संसाधन मंत्रालय द्वारा अध्यापकों के दो वर्षीय डिप्लोमा इन एजुकेशन के कोर्स को लेकर जारी किए गई अधिसूचना का कड़ा संज्ञान लिया और कहा है कि यदि इस अधिसूचना को वापिस नहीं लिया गया तो समस्त अध्यापक संघ आंदोलन करने के लिए कतई भी नहीं हिचकिचाएंगे।
मानव संसाधन मंत्रालय द्वारा प्रारंभिक शिक्षा निदेशक को अगस्त माह में भेजे गए पत्र और शिक्षा निदेशक द्वारा सितंबर माह में सभी उपनिदेशकों को आदेश जारी करने का कड़ा विरोध कर रही है। इन आदेशों के आधार पर 2001 के पश्चात् नियमित हुए अध्यापको जोकि पहली से आठवी तक की कक्षाओं को पढाते है। उन अध्यापकों के लिए डिप्लोमा इन एजुकेशन के प्रशिक्षण के लिए पंजीकरण करवाने तथा 31 मार्च 2019 से पहले इस प्रशिक्षण को पूरा करने के आदेश जारी किए।
जबकि आरटीआई एक्ट 2009 की धारा 29 की उपधारा 2 तथा एनसीईटी की 23 अगस्त 2010 की गाईडलाईन के अनुसार 2010 से पूर्व नियुक्त अध्यापकों के लिए इस प्रकार के किसी भी नियम का उल्लेख नहीं है। 2001 से 2019 तक की नियुक्ति आर एंड पी नियमों के तहत हुई है और पहले ही प्रशिक्षित है कि इन अध्यापकों को किसी प्रकार के प्रशिक्षण की आवश्यकता नहीं है। संघ के नेताओं ने दो टूक शब्दों में कहा है कि केंद्र सरकार व प्रदेश सरकार ने इस तुगल के फरमान को तुरंत वापिस नहीं किया गया तो अध्यापक संघ को आंदोलन करने पर मजबूर होना पड़ेगा।