चंबा, 21 अप्रैल : जिला विधिक सेवाएं प्राधिकरण के तत्वावधान में पंचायत समिति हाल सलूणी में विधिक सेवाएं जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। शिविर की अध्यक्षता करते हुए अतिरिक्त मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी व सचिव विधिक सेवा प्राधिकरण विशाल कौंडल ने कहा कि विधिक सेवा प्राधिकरण असहाय, अपंग, औरतों, बच्चों, औद्योगिक कामगार, मानसिक अस्वस्थ, हिरासत में रखे गए लोग,अनुसूचित जाति व जनजाति से संबंधित,एचआईवी एड्स से पीड़ित, संप्रदायिक दंगे जातीय हिंसा, बाढ़, भूकंप, सूखा, जाति अत्याचार, औद्योगिक संकट, मानव दुर्व्यवहार, बेगार के शिकार व्यक्तियों को जिनकी समस्त साधनों से वार्षिक आय तीन लाख से कम हो ,को कानूनी सहायता प्रदान करता है।
उन्होंने शिविर में मौलिक कर्तव्यों ,महिलाओं के अधिकारों के बारे व अन्य महत्वपूर्ण जानकारी भी साझा की। उन्होंने कहा कि मुकदमों को तुरंत निपटाने के लिए प्राधिकरण राष्ट्रीय,राज्य,जिला तथा उपमंडल स्तर पर नियमित लोक अदालतों का आयोजन करता है। यदि उनके कानूनी अधिकारों का अतिक्रमण हो तो उनके समाधान के बारे में भी बताता है। उन्होंने बताया कि विधिक सेवा प्राधिकरण मध्यस्थता के माध्यम से विवादित पक्षों के बीच समझौता की आधारभूत आधार भूमि तैयार करता है।
विधिक सेवा प्राधिकरण के इस शिविर में अधिवक्ता यशपाल सिंह ने शिविर में उपस्थित महिला व युवक मंडल,आशा और आंगनवाड़ी वर्करों को वाहन दुर्घटना,घरेलू हिंसा,मानसिक रोग से संबंधित विभिन्न कानूनों के बारे में विस्तृत जानकारी भी प्रदान की। शिविर में विभिन्न पंचायतों से प्रतिनिधि आशा व आंगनबाड़ी वर्करों सहित अन्य गणमान्य उपस्थित रहे।